मेक इन इंडिया पहल के तहत
वंदे भारत ट्रेनों की सफलता के बाद भारतीय रेलवे (आईआर) ने अब हाई-स्पीड ट्रेन सेट
का डिजाइन और निर्माण शुरू कर दिया है। उन्होंने कहा कि विस्तृत डिजाइन को अंतिम रूप
दिए जाने के बाद परियोजना के पूरा होने का उचित अनुमान लगाया जा सकता है।
केंद्रीय रेल मंत्री अश्विनी
वैष्णव ने बुधवार को संसद को बताया कि इंटीग्रल कोच फैक्ट्री (चेन्नई), बीईएमएल के साथ मिलकर हाई-स्पीड ट्रेन सेट का डिजाइन और निर्माण कर रही है।
इस ट्रेन की स्पीड 280 किलोमीटर प्रति घंटा होगी। इस हाई-स्पीड
ट्रेन सेटों का डिजाइन और निर्माण एक जटिल और प्रौद्योगिकी-गहन प्रक्रिया है।इस रेल
के निर्माण की लागत लगभग 28 करोड़ रुपये प्रति (करों को छोड़कर)
है।
ट्रेन में मिलेंगी ये सुविधाएं
उन्होंने बताया
कि इसमें हाई
स्पीड के लिए
इलेक्ट्रिक्स का
डिजाइन और निर्माण
अलग से किया गया है। ट्रेन सेटों
का भार अनुकूलन और ट्रेनों
की हीटिंग, वेंटिलेशन और एयर
कंडीशनिंग (एचवीएसी)
पर अधिक फोकस रखा गया है। यात्रियों की सुविधा
के लिए डिब्बों के अंदर
अनुकूलतम परिस्थितियां, सीसीटीवी, मोबाइल
चार्जिंग सुविधाएं, अनुकूलतम
प्रकाश व्यवस्था
और अग्नि सुरक्षा
उपकरण उपलब्ध
होंगे।
गर्डर लॉन्चिंग का काम पूरा
रेल मंत्री ने जापान से तकनीकी और वित्तीय सहायता के साथ क्रियान्वयन के तहत मुंबई-अहमदाबाद हाई स्पीड रेल (एमएएचएसआर) परियोजना पर भी अपडेट साझा किया। उन्होंने कहा कि अब तक 336 किलोमीटर पियर फाउंडेशन, 331 किलोमीटर पियर निर्माण, 260 किलोमीटर गर्डर कास्टिंग और 225 किलोमीटर गर्डर लॉन्चिंग का काम पूरा हो चुका है।
इन शहरों को मिलेगी सौगात
उन्होंने कहा कि अंडरसी टनल (लगभग 21 किलोमीटर) का काम भी शुरू हो गया है। 508 किलोमीटर लंबी एमएएचएसआर परियोजना में मुंबई, ठाणे, विरार, बोइसर, वापी, बिलिमोरा, सूरत, भरूच, वडोदरा, आनंद, अहमदाबाद और साबरमती में 12 स्टेशन बनाए जाएंगे। इसके लिए आवश्यक पूरी भूमि (1,389.5 हेक्टेयर) का अधिग्रहण कर लिया गया है।